देहरादून: प्रदेश सरकार ने बायोमेट्रिक उपस्थिति अनिवार्य करने के बावजूद समय से कार्यालय नहीं पहुंचने वाले कर्मचारियों पर कार्रवाई करने का निर्णय लिया है. शासन ने लेट लतीफी को गंभीरता से लेते हुए कर्मचारियों के लिए नए नियम बनाए हैं.
देरी से आने पर कार्रवाई:
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एक दिन की देरी: मौखिक चेतावनी
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दो दिन की देरी: लिखित चेतावनी
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तीन दिन की देरी: एक दिन के आकस्मिक अवकाश की कटौती
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चार या उससे अधिक दिन की देरी: अनुशासनात्मक कार्रवाई
एक मई से लागू हुई थी बायोमेट्रिक हाजिरी:

शासन ने इस महीने की शुरुआत में सभी विभागों में बायोमेट्रिक उपस्थिति अनिवार्य कर दी थी. इसके लिए सभी विभागों को पत्र भी जारी किए गए थे. इसका उद्देश्य कर्मचारियों की समय पर उपस्थिति सुनिश्चित करना और सरकारी कार्यों में तेजी लाना था. सभी कार्यालयों को अपनी बायोमेट्रिक मशीनें ठीक कराने और जरूरत पड़ने पर नई मशीनें खरीदने के निर्देश दिए गए थे.
कई कर्मचारी अभी भी नहीं कर रहे पालन:
बायोमेट्रिक व्यवस्था लागू होने के 15 दिन बाद भी कई विभागों में अधिकारी और कर्मचारी समय से अपनी उपस्थिति दर्ज नहीं करा रहे हैं.
सभी विभागाध्यक्षों को पत्र:
सचिव सामान्य प्रशासन विनोद कुमार सुमन ने सभी प्रमुख सचिव, सचिव, विभागाध्यक्ष और जिलाधिकारियों को पत्र लिखकर कार्यालयों में कर्मचारियों की समय पर उपस्थिति सुनिश्चित करने को कहा है. सचिवालय में सुबह 9:45 बजे और अन्य कार्यालयों में 10:15 बजे के बाद आने वाले कर्मचारियों के खिलाफ निर्देशों के अनुसार कार्रवाई की जाएगी. उन्होंने सभी से इस व्यवस्था का सख्ती से पालन कराने की अपेक्षा की है.
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