US: अमेरिकी विश्वविद्यालयों में फिलीस्तीनी समर्थक छात्रों के प्रदर्शन पर पुलिस की कार्रवाई

न्यूयॉर्क: अमेरिका भर के विश्वविद्यालयों में फिलीस्तीनी समर्थक छात्रों के प्रदर्शन ने तूल पकड़ लिया है। छात्रों ने विश्वविद्यालय परिसरों में तंबू गाड़कर कई दिनों से विरोध प्रदर्शन जारी रखा है। बढ़ते विरोध को देखते हुए पुलिस ने कार्रवाई करते हुए कई छात्रों को गिरफ्तार किया है और विश्वविद्यालय प्रशासन ने छात्रों को निलंबित करने की चेतावनी दी है। कोलंबिया विश्वविद्यालय में तनाव: कोलंबिया विश्वविद्यालय में छात्रों द्वारा लगाए गए तंबुओं को पुलिस ने हटा दिया है और विश्वविद्यालय प्रशासन ने छात्रों को निलंबित करने की प्रक्रिया शुरू कर दी है। पुलिस ने रात 9 बजे के बाद कार्रवाई करते हुए प्रदर्शनकारियों को गिरफ्तार किया। टेक्सास विश्वविद्यालय में भी गिरफ्तारियां: टेक्सास विश्वविद्यालय में भी पुलिस ने प्रदर्शनकारियों को गिरफ्तार किया है। मई में होने वाले समारोहों से पहले दबाव: मई में होने वाले विश्वविद्यालय समारोहों से पहले प्रशासन पर प्रदर्शनकारियों को हटाने का दबाव बढ़ रहा है। इस महीने की शुरुआत में कोलंबिया में शुरू हुए ये विरोध प्रदर्शन अब कैलिफोर्निया से लेकर मैसाचुसेट्स तक फैल चुके हैं।   Pls read:US: अमेरिका ने चीन पर चुनावों में दखल का लगाया…

Pakistan: कंगाल पाकिस्तान को IMF से मिली 110 करोड़ डालर की मदद

वाशिंगटन: आर्थिक संकट से जूझ रहे पाकिस्तान को अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (IMF) से बड़ी राहत मिली है। IMF ने पाकिस्तान को १.१ अरब अमेरिकी डॉलर की तत्काल वित्तीय सहायता देने की मंजूरी दे दी है। यह मदद IMF के राहत पैकेज के तहत दी जा रही है। हालांकि, IMF ने साफ किया है कि पाकिस्तान को अपनी अर्थव्यवस्था को पटरी पर लाने के लिए कड़े कदम उठाने होंगे। IMF ने रखीं शर्तें IMF के कार्यकारी बोर्ड ने पाकिस्तान को वित्तीय सहायता देने का फैसला लेते हुए कहा है कि पाकिस्तान को अपनी अर्थव्यवस्था में सुधार के लिए कई कदम उठाने होंगे। इनमें शामिल हैं: वृहद आर्थिक नीतियों में सुधार: पाकिस्तान को मुद्रास्फीति को नियंत्रित करने, चालू खाता घाटे को कम करने और विदेशी मुद्रा भंडार बढ़ाने के लिए ठोस कदम उठाने होंगे। संरचनात्मक सुधार: पाकिस्तान को कर प्रणाली में सुधार, ऊर्जा क्षेत्र में सुधार और सरकारी खर्चों में कमी जैसे संरचनात्मक सुधारों को लागू करना होगा। सामाजिक सुरक्षा: पाकिस्तान को अपने सबसे गरीब और कमजोर नागरिकों को सामाजिक सुरक्षा प्रदान करने के लिए कदम उठाने होंगे। पाकिस्तान के सामने चुनौतियाँ पाकिस्तान की अर्थव्यवस्था कई चुनौतियों से जूझ रही है। इनमें शामिल हैं: उच्च मुद्रास्फीति: पाकिस्तान में मुद्रास्फीति दर बहुत अधिक है, जिससे आम लोगों का जीवनयापन मुश्किल हो गया है। बढ़ता चालू खाता घाटा: पाकिस्तान का आयात निर्यात से ज्यादा है, जिससे चालू खाता घाटा बढ़ रहा है। कम होते विदेशी मुद्रा भंडार: पाकिस्तान के विदेशी मुद्रा भंडार तेजी से कम हो रहे हैं, जिससे देश की वित्तीय स्थिरता को खतरा है। आगे का रास्ता पाकिस्तान को IMF की शर्तों को पूरा करने और अपनी अर्थव्यवस्था में सुधार के लिए कड़े कदम उठाने की जरूरत है। पाकिस्तान को संरचनात्मक सुधारों को लागू करने और बाहरी समर्थन प्राप्त करने के लिए अंतर्राष्ट्रीय समुदाय के साथ मिलकर काम करना होगा। तभी पाकिस्तान अपने आर्थिक संकट से उबर पाएगा।   Pls read_US:…

US: पत्नी की हत्या का बीमा के पैसों से खरीदी Pleasure Doll

कैनसस सिटी (अमेरिका): अमेरिका के कैनसस सिटी में एक व्यक्ति ने अपनी पत्नी की हत्या कर दी और उसके जीवन बीमा के पैसों से एक डॉल खरीदी। पुलिस ने आरोपी को गिरफ्तार कर लिया है। क्या है मामला? 2019 में, कोल्बी ट्रिकल नाम के एक व्यक्ति ने 911 पर कॉल करके बताया कि उसकी पत्नी क्रिस्टन ट्रिकल ने खुद को गोली मार ली है। शुरूआत में इसे आत्महत्या का मामला माना गया था, लेकिन बाद में जांच में पता चला कि कोल्बी ने ही अपनी पत्नी की हत्या की थी। क्रिस्टन के पास दो जीवन बीमा पॉलिसी थीं, जिनकी कुल राशि 120,000 डॉलर (लगभग 1 करोड़ रुपये) से अधिक थी। पत्नी की मौत के बाद, कोल्बी को बीमा राशि मिल गई, जिससे उसने एक डॉल खरीदी और बाकी पैसों को मौज–मस्ती और कर्ज चुकाने में खर्च कर दिया। पुलिस को हुआ शक: शुरुआती जांच में ही पुलिस को कोल्बी पर शक हुआ था। बाद में, जांचकर्ताओं ने सबूत जुटाए और कोल्बी को गिरफ्तार कर लिया। परिवार के सदस्य सदमे में: क्रिस्टन की चाची डेलिन राइस ने कहा कि वह इस बात से हैरान हैं कि कोल्बी ने अपनी पत्नी के जीवन बीमा के पैसों से एक डॉल खरीदी। उन्होंने कहा कि ऐसा लगता है जैसे उसने क्रिस्टन की जगह एक डॉल खरीद ली हो।

Kenya: केन्या में बाढ़ का कहर, 42 की मौत, कई लापता

माई माहिउ (केन्या): मध्य केन्या के माई माहिउ में सोमवार तड़के एक बांध टूटने से आई भीषण बाढ़ में कम से कम 42 लोगों की मौत हो गई। मृतकों की संख्या बढ़ने की आशंका है। बाढ़ से तबाही: केन्याई मीडिया और रेड क्रॉस द्वारा शेयर की गई तस्वीरों में बाढ़ से हुई तबाही का मंजर साफ दिखाई दे रहा है। बाढ़ के कारण पेड़ उखड़ गए, कारें कीचड़ और लकड़ियों के बीच फंस गईं और सड़कें क्षतिग्रस्त हो गईं। केन्या रेड क्रॉस ने बताया कि कई लोगों को माई माहिउ में एक स्वास्थ्य सुविधा में ले जाया गया है। पिछले महीने से जारी है बारिश और बाढ़ का कहर: इस घटना से पिछले महीने से भारी बारिश और बाढ़ से मरने वालों की संख्या 140 से अधिक हो गई है। सरकारी आंकड़ों के अनुसार, सोमवार तक 103 लोग मारे गए थे और 185,000 से अधिक विस्थापित हुए थे। पूर्वी अफ्रीका में बाढ़ से हाहाकार: तंजानिया और बुरुंडी सहित अन्य पूर्वी अफ्रीकी देशों में भी भारी बारिश के कारण दर्जनों लोग मारे गए हैं और सैकड़ों हजारों लोग विस्थापित हुए हैं। बाढ़ ने सड़कों, पुलों और अन्य बुनियादी ढांचे को व्यापक नुकसान पहुंचाया है। नए स्कूल सत्र की शुरुआत टली: केन्या के शिक्षा मंत्रालय ने सोमवार को नए स्कूल सत्र की शुरुआत को एक सप्ताह के लिए स्थगित कर दिया है। जलवायु परिवर्तन को बताया जा रहा है जिम्मेदार: वैज्ञानिकों का कहना है कि जलवायु परिवर्तन अधिक तीव्र और लगातार चरम मौसम की घटनाओं का कारण बन रहा है। पिछले बरसात के मौसम के दौरान भी पूर्वी अफ्रीका रिकॉर्ड बाढ़ से प्रभावित हुआ था।

US: अमेरिका ने चीन पर चुनावों में दखल का लगाया आरोप, बढ़ा तनाव

वाशिंगटन डी.सी. – अमेरिकी विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन ने चीन की अपनी तीन दिवसीय यात्रा के बाद CNN को दिए एक इंटरव्यू में चिंता जताई है कि चीन आगामी अमेरिकी चुनावों को प्रभावित करने और उनमें दखल देने की कोशिश कर रहा है। ब्लिंकन का यह आरोप चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग द्वारा पहले किए गए वादे के विपरीत है जिसमें उन्होंने इस तरह की गतिविधियों से बचने की बात कही थी। ब्लिंकन की यात्रा के दौरान उनकी राष्ट्रपति शी सहित शीर्ष चीनी अधिकारियों के साथ कई घंटों की बैठकें हुईं, जिनमें अमेरिकी तकनीकी नियंत्रण से लेकर मॉस्को को बीजिंग के समर्थन जैसे कई विवादास्पद मुद्दों पर चर्चा हुई। उन्होंने पिछले साल नवंबर में सैन फ्रांसिस्को में हुए शिखर सम्मेलन के दौरान राष्ट्रपति जो बाइडन द्वारा शी जिनपिंग को दिए गए संदेश को दोहराया, जिसमें उन्होंने 2024 के अमेरिकी राष्ट्रपति चुनावों में हस्तक्षेप न करने का अनुरोध किया था। शी ने उस समय इस पर सहमति जताई थी। जब ब्लिंकन से पूछा गया कि क्या चीन पहले से ही इस वादे का उल्लंघन कर रहा है, तो उन्होंने कहा, “हाँ, हमने ऐसा देखा है,“ हालांकि उन्होंने इस बारे में विस्तार से जानकारी नहीं दी। उन्होंने अमेरिका में मौजूदा सामाजिक विभाजनों का फायदा उठाने के लिए चीन और अन्य देशों द्वारा चलाए जा रहे प्रभाव अभियानों पर भी चिंता व्यक्त की। चीन ने इन आरोपों का खंडन किया है और कहा है कि वह अन्य देशों के आंतरिक मामलों में दखल नहीं देता। हालांकि, ब्लिंकन के बयानों से दोनों देशों के बीच तनाव बढ़ने की संभावना है। अब देखना होगा कि अमेरिका इन आरोपों पर क्या कार्रवाई करता है और चीन इस पर कैसी प्रतिक्रिया देता है।   Pls read:US: अमेरिकी विश्वविद्यालाओं में इजराइल-हमास युद्ध के विरोध में उबाल,…

US: अमेरिकी विश्वविद्यालाओं में इजराइल-हमास युद्ध के विरोध में उबाल, कई जगह झड़पें

न्यूयॉर्क: इज़राइल और हमास के बीच जारी युद्ध के विरोध में अमेरिका के कई विश्वविद्यालयों में प्रदर्शन उग्र हो गए हैं। कई जगहों पर पुलिस को प्रदर्शनकारियों को नियंत्रित करने के लिए बुलाना पड़ा है, जिससे झड़पें और गिरफ्तारियां हुई हैं। मुख्य घटनाक्रम: व्यापक विरोध प्रदर्शन: कैलिफोर्निया के दक्षिणी विश्वविद्यालय, ऑस्टिन में टेक्सास विश्वविद्यालय, बोस्टन के इमर्सन कॉलेज, कैलिफोर्निया स्टेट पॉलिटेक्निक यूनिवर्सिटी, हम्बोल्ट, ब्राउन यूनिवर्सिटी, मिशिगन यूनिवर्सिटी, एमआईटी और कोलंबिया विश्वविद्यालय सहित कई विश्वविद्यालयों में विरोध प्रदर्शन हुए हैं। पुलिस से झड़प और गिरफ्तारियां: दक्षिणी कैलिफोर्निया विश्वविद्यालय में 93, ऑस्टिन में टेक्सास विश्वविद्यालय में दर्जनों और इमर्सन कॉलेज में 108 प्रदर्शनकारियों को गिरफ्तार किया गया है। इमर्सन कॉलेज में झड़प के दौरान चार पुलिस अधिकारी घायल भी हुए हैं। परिसर बंद: बढ़ते विरोध प्रदर्शनों के कारण दक्षिणी कैलिफोर्निया विश्वविद्यालय ने अपने परिसर को बंद करने की घोषणा की है। यहूदी विरोधी भावना का आरोप: कुछ यहूदी छात्रों ने आरोप लगाया है कि विरोध प्रदर्शन यहूदी विरोधी भावना में बदल रहे हैं। प्रदर्शनकारियों की मांग: प्रदर्शनकारी अमेरिकी सरकार पर गाजा में नागरिकों पर इजरायली हमलों को रोकने के लिए दबाव बनाने की मांग कर रहे हैं। राजनीतिक हस्तियों की भागीदारी: अमेरिकी प्रतिनिधि सभा के अध्यक्ष माइक जॉनसन जब कोलंबिया विश्वविद्यालय में यहूदी छात्रों का समर्थन करने पहुंचे, तो उनका सामना फलस्तीन समर्थक प्रदर्शनकारियों के विरोध से हुआ। स्थिति यह दर्शाती है कि इज़राइल–हमास युद्ध को लेकर अमेरिका में गहरे मतभेद और तनाव हैं, जो विश्वविद्यालय परिसरों में भी साफ दिखाई दे रहे हैं।   Pls read:US: अमेरिका ने ईरान से…

US: अमेरिका ने ईरान से व्यापार करने पर पाकिस्तान को प्रतिबंधों की चेतावनी दी

वॉशिंगटन: अमेरिका ने पाकिस्तान को ईरान के साथ व्यापारिक समझौतों को लेकर चेतावनी दी है। अमेरिकी विदेश विभाग के उप प्रवक्ता वेदांत पटेल ने कहा कि ईरान के साथ व्यापार करने वाले देशों को अमेरिकी प्रतिबंधों के जोखिम के बारे में पता होना चाहिए। मुख्य बिंदु: ईरानी राष्ट्रपति की हालिया पाकिस्तान यात्रा के दौरान दोनों देशों ने आठ समझौता ज्ञापनों पर हस्ताक्षर किए और द्विपक्षीय व्यापार को बढ़ाने पर सहमति जताई। अमेरिका ने इस सप्ताह पाकिस्तान के बैलिस्टिक मिसाइल कार्यक्रम के आपूर्तिकर्ताओं पर प्रतिबंध लगाए, जिनमें चीन की तीन कंपनियां भी शामिल हैं। अमेरिका का कहना है कि ये प्रतिबंध सामूहिक विनाश के हथियारों के प्रसार को रोकने के लिए लगाए गए हैं। अमेरिका ने पाकिस्तान को स्पष्ट किया है कि ईरान के साथ व्यापार करने पर उसे भी प्रतिबंधों का सामना करना पड़ सकता है। इस चेतावनी से पाकिस्तान की मुश्किलें बढ़ सकती हैं जो पहले से ही आर्थिक संकट से जूझ रहा है। पाकिस्तान को अब अमेरिका और ईरान के बीच संतुलन बनाए रखने की चुनौती का सामना करना पड़ेगा।   Pls read:US: अमेरिका के हस्ताक्षेप के बाद ईरान…

UK: ब्रिटिश संसद ने पारित किया विवादास्पद रंवाडा निर्वासन बिल

लंदन (नवंबर 6, 2023): ब्रिटेन की संसद ने विवादित रवांडा निर्वासन विधेयक को पारित कर दिया है। इस विधेयक के तहत अवैध रूप से ब्रिटेन में प्रवेश करने वाले शरणार्थियों को रवांडा भेजा जाएगा। विधेयक के पारित होने के दौरान संसद में काफी हंगामा भी हुआ। प्रधानमंत्री ऋषि सुनक ने जानकारी दी कि अगले 10 से 12 हफ्तों के भीतर अवैध शरणार्थियों के पहले जत्थे को रवांडा भेजने की प्रक्रिया शुरू हो जाएगी। इसके लिए ब्रिटेन सरकार ने कमर्शियल चार्टर विमानों को बुक किया है। गौरतलब है कि सुनक ने प्रधानमंत्री बनने से पहले ही रवांडा नीति लागू करने का वादा किया था। पिछले कुछ वर्षों में इंग्लिश चैनल पार करके हजारों शरणार्थी रवांडा से ब्रिटेन पहुँच चुके हैं। रिपोर्ट्स के अनुसार, इस साल जनवरी से मार्च के बीच 4600 से ज़्यादा लोग इंग्लिश चैनल पार करके ब्रिटेन पहुँचे हैं। ब्रिटेन और रवांडा के बीच अप्रैल 2022 में शरणार्थी नीति पर एक समझौता हुआ था। इस समझौते के तहत ब्रिटेन ने रवांडा को 12 करोड़ पाउंड की आर्थिक सहायता प्रदान की थी। इस धनराशि का उपयोग रवांडा में रहने वाले लोगों के लिए आवास और रोजगार की व्यवस्था करने के लिए किया जाना था।   PLs read:US: अमेरिका के हस्ताक्षेप के बाद ईरान पर आग बबूला…

Gaza: गाजा में इजराली हमलों में 22 फलस्तीनी मारे गए, 14 बच्चों की भी मौत

यरुशलम: गाजा पट्टी में इजरायली सेना के हमले जारी हैं। शनिवार–रविवार की रात मिस्र सीमा के शहर रफाह पर इजरायल के हवाई हमले में 22 फलस्तीनियों की मौत हो गई। मारे गए लोगों में 18 बच्चे हैं। इससे एक दिन पहले इजरायली कार्रवाई में रफाह में नौ लोग मारे गए थे जिनमें दो महिलाएं और छह बच्चे थे। रफाह में गाजा के विभिन्न इलाकों से आए करीब 14 लाख लोगों ने शरण ले रखी है। रफाह में हमास और इस्लामिक जिहाद के लड़ाकों के छिपे होने का कयास लगाकर इजरायल वहां पर जमीनी सैन्य कार्रवाई की योजना करीब डेढ़ महीने से बना रहा है। हालांकि, भारी खूनखराबे की आशंका से अमेरिका, यूरोपीय देश और संयुक्त राष्ट्र इजरायल को इस कार्रवाई के लिए रोक रहे थे। लेकिन 14 अप्रैल को इजरायल पर ईरान के हमले के बाद उसे बड़ा जवाबी हमला करने से रोकने के लिए अमेरिका ने रफाह में कार्रवाई के लिए इजरायली सेना को कुछ छूट देने पर बात की है। माना जा रहा है कि अमेरिका की हरी झंडी के बाद ही इजरायल ने रफाह पर हवाई हमले तेज किए हैं। इससे पहले रफाह पर हमले के लिए इजरायली विमान कभी–कभार उसकी ओर रुख करते थे। रफाह में हुए ताजा दो हमलों में से एक में एक ही परिवार की दो महिलाएं और 17 बच्चे मारे गए, जबकि दूसरे हमले में एक पुरुष, एक महिला और उनका तीन वर्ष का बच्चा मारा गया। अब तक 34,000 से अधिक फलस्तीनी मारे गए गाजा में सात अक्टूबर, 2023 से जारी इजरायली कार्रवाई में अब तक 34,000 से अधिक फलस्तीनी मारे गए हैं। अमेरिकी संसद के सदन प्रतिनिधि सभा ने शनिवार को इजरायल को 26 अरब डॉलर की सहायता देने का प्रस्ताव पारित किया है, जिसमें विभिन्न प्रकार के हथियार और गोला–बारूद शामिल हैं। इस धनराशि में से नौ अरब डॉलर मानवीय सहायता के लिए गाजा को मिलेंगे।

Iraq: ईरान के बाद अब ईरान में पीएमएफ के ठिकानों पर हवाई हमले

बगदाद। इराक के सैन्य अड्डों पर शुक्रवार को जबरदस्त हवाई हमले हुए हैं। बगदाद के दक्षिण…