नैनीताल। अंकिता भंडारी हत्याकांड के मुख्य आरोपी पुलकित आर्य की जमानत याचिका हाईकोर्ट ने खारिज कर दी। हाई कोर्ट ने कहा कि यह गंभीर अपराध है और निचली अदालत में अब तक हुई सभी गवाहों के बयान से इस बात की पुष्टि हुई है कि घटना के वक्त सभी आरोपी मौके पर मौजूद थे।
इस मामले की सुनवाई हाई कोर्ट में न्यायमूर्ति रवींद्र मैठाणी की एकलपीठ में हुई। न्यायाधीश न्यायमूर्ति रवींद्र मैठाणी ने साफ कहा कि आरोपितों ने उसे वीआईपी सेवा देने के लिए बार बार दबाव डाला। फोरेंसिक जांच में भी इनकी लोकेशन वहां पाई गई। यही नहीं मृतका ने अपने व्हाट्सएप चैट में भी इसका जिक्र किया है। सुनवाई के दौरान मृतका के परिवार की ओर से कहा गया कि आरोपितों ने सबूतों को छिपाने के लिए रिसॉर्ट में तोड़फोड़ की। रिसॉर्ट के सीसीटीवी कैमरे बंद करा दिए गए और डीवीआर से भी छेड़खानी की गई। पौड़ी जिले के डोभ श्रीकोट की बेटी अंकिता भंडारी वनंत्रा रिसोर्ट ऋषिकेश में नौकरी करती थी, जिसकी हत्या आरोपी रिसोर्ट स्वामी पुलकित आर्य, सौरभ भास्कर और अंकित ने चीला बैराज में धक्का देकर की थी। मामले की छानबीन के बाद तीनों आरोपियों को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया, तब से आरोपित जेल में बंद है।
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