नई दिल्ली। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने रूस-यूक्रेन युद्ध को समाप्त करने की दिशा में एक बड़ी और अप्रत्याशित कूटनीतिक पहल की है। उन्होंने बुधवार को कहा कि वह बहुत जल्द रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन से मुलाकात कर सकते हैं। यह बयान मॉस्को में उनके विशेष दूत और पुतिन के बीच हुई एक ‘बेहद कामयाब’ बैठक के बाद आया है, जिससे वैश्विक गलियारों में हलचल तेज हो गई है।
ट्रंप ने व्हाइट हाउस में पत्रकारों से बात करते हुए कहा कि यूक्रेन-रूस युद्ध को समाप्त करने की दिशा में एक बड़ा कदम उठाया जा सकता है। उन्होंने कहा, “बहुत जल्द पुतिन और जेलेंस्की से मुलाकात का एक अच्छा मौका है।” हालांकि, उन्होंने यह स्पष्ट नहीं किया कि पुतिन के साथ उनकी संभावित मुलाकात कब और कहां होगी। अमेरिकी मीडिया संस्थान जैसे न्यूयॉर्क टाइम्स और सीएनएन ने सूत्रों के हवाले से बताया है कि यह मुलाकात अगले हफ्ते हो सकती है, जिसके बाद ट्रंप दोनों नेताओं (पुतिन और जेलेंस्की) के साथ एक त्रिपक्षीय बैठक करना चाहते हैं।
शांति की पहल के साथ प्रतिबंधों की चेतावनी
इस कूटनीतिक पहल के साथ ही ट्रंप ने रूस पर दबाव भी बनाया है। उन्होंने रूस को चेतावनी दी है कि यदि शुक्रवार तक शांति की दिशा में कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया तो उस पर नई पाबंदियां लगाई जाएंगी। अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ‘ट्रुथ सोशल’ पर ट्रंप ने लिखा, “बड़ी तरक्की हुई है!” उन्होंने यह भी कहा कि इस पहल की जानकारी यूरोप के कुछ सहयोगी देशों को दी गई है और सभी चाहते हैं कि यह विनाशकारी युद्ध जल्द से जल्द खत्म हो।
हालांकि, ट्रंप के आशावादी रुख के विपरीत, एक वरिष्ठ अमेरिकी अधिकारी ने स्पष्ट किया है कि रूस पर दो दिनों के भीतर ‘दूसरी पाबंदियां’ लगने की पूरी उम्मीद है, जो यह दर्शाता है कि अमेरिका दबाव की रणनीति को छोड़ने के मूड में नहीं है।
जमीनी हकीकत और पुरानी वार्ताएं
यह गौरतलब है कि ट्रंप ने अपने चुनावी अभियान के दौरान दावा किया था कि वह सत्ता में आने के 24 घंटे के भीतर इस जंग को खत्म कर देंगे। अब वह उसी दिशा में प्रयास करते दिख रहे हैं। लेकिन उनकी यह पहल ऐसे समय में हो रही है जब रूस ने यूक्रेन पर अपने ड्रोन और मिसाइल हमले तेज कर दिए हैं और जमीन पर भी उसकी सेना लगातार आगे बढ़ रही है।
इससे पहले दोनों देशों के बीच तुर्की के इस्तांबुल में तीन दौर की बातचीत हो चुकी है, लेकिन दोनों पक्षों की मांगों में भारी अंतर होने के कारण कोई ठोस समाधान नहीं निकल सका। बहरहाल, ट्रंप के दूत स्टीव विटकॉफ और पुतिन के सलाहकार यूरी उशाकॉव के बीच हुई तीन घंटे की लंबी बातचीत को रूसी पक्ष ने ‘काफी फायदेमंद’ बताया है, जिससे भविष्य की वार्ताओं के लिए एक सकारात्मक संकेत मिला है।
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