चंडीगढ़। पंजाब ने ‘एक जिला एक उत्पाद’ (ODOP) पहल में अपनी उत्कृष्टता का लोहा मनवाते हुए प्रतिष्ठित राष्ट्रीय पुरस्कारों में स्वर्ण पदक जीता है। राज्य श्रेणी (State category) में मिला यह सम्मान पंजाब सरकार द्वारा अपने जिलों के अद्वितीय उत्पादों को बढ़ावा देने और उन्हें वैश्विक बाजार से जोड़ने के लिए किए जा रहे अथक प्रयासों का प्रमाण है। यह घोषणा केंद्रीय वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री पीयूष गोयल ने नई दिल्ली के भारत मंडपम में आयोजित एक भव्य समारोह में की।
इस महत्वपूर्ण उपलब्धि की जानकारी देते हुए, पंजाब के उद्योग एवं वाणिज्य, निवेश प्रोत्साहन और एनआरआई मामलों के मंत्री संजीव अरोड़ा ने इसे राज्य के लिए एक गौरव का क्षण बताया। उन्होंने कहा कि यह शानदार उपलब्धि उद्योग एवं वाणिज्य विभाग के समर्पण, कड़ी मेहनत और टीम वर्क का प्रतिबिंब है, जिसने पंजाब के स्थानीय उत्पादों को राष्ट्रीय मंच पर एक नई पहचान दिलाई है।
इन पहलों ने दिलाया पंजाब को सम्मान
पुरस्कार समारोह के दौरान, उद्योग एवं वाणिज्य विभाग के सचिव कमल किशोर यादव ने ओडीओपी पहल के तहत पंजाब के सर्वश्रेष्ठ अभ्यासों (Best Practices) को दर्शाते हुए एक प्रस्तुति भी दी। उन्होंने बताया कि राज्य ने कई प्रगतिशील और टिकाऊ कदम उठाए हैं, जिन्होंने इस सफलता की नींव रखी। इनमें प्रमुख हैं:
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ग्रीन स्टैंप पेपर पहल: व्यापार को आसान और पर्यावरण के अनुकूल बनाने की एक अनूठी पहल।
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राइट टू बिजनेस एक्ट, 2020: इस अधिनियम के तहत नए व्यवसायों को त्वरित और परेशानी मुक्त मंजूरी प्रदान करना।
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फसल विविधीकरण: ओडीओपी के माध्यम से किसानों को पारंपरिक फसलों से हटकर बाजार की मांग के अनुरूप फसलें उगाने के लिए प्रोत्साहित करना।
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निर्यात और बाजार प्रोत्साहन: स्थानीय उत्पादों के लिए राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय बाजार तक पहुंच बनाना और उनके निर्यात में उल्लेखनीय वृद्धि हासिल करना।
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कौशल-निर्माण एवं नवाचार: स्थानीय कारीगरों और उद्यमियों को आधुनिक तकनीक और कौशल से लैस करना।
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प्रभावशाली वृद्धि: इन सभी प्रयासों के परिणामस्वरूप राज्य के औद्योगिक विकास में प्रभावशाली वृद्धि दर्ज की गई है।
टीम वर्क और सुनियोजित नीति का परिणाम
यह प्रतिष्ठित पुरस्कार पंजाब की उद्योग एवं वाणिज्य निदेशक, सुरभि मलिक (आईएएस) ने प्राप्त किया। मंत्री संजीव अरोड़ा ने कहा, “यह दर्शाता है कि कैसे सुनियोजित नीतिगत समर्थन और नवाचार समावेशी औद्योगिक विकास को बढ़ावा दे सकते हैं। हमारी सरकार स्थानीय उद्यमियों को हर संभव सहायता प्रदान करने और ‘ईज ऑफ डूइंग बिजनेस’ के माहौल को और बेहतर बनाने के लिए प्रतिबद्ध है।”
यह स्वर्ण पदक केवल एक पुरस्कार नहीं है, बल्कि यह पंजाब सरकार की उस प्रतिबद्धता का प्रमाण है, जो वह अपने जिलों के अनूठे उत्पादों को राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय मंच पर पहचान दिलाने के लिए कर रही है। इस उपलब्धि से राज्य के स्थानीय कारीगरों, किसानों और छोटे उद्यमियों को और अधिक प्रोत्साहन मिलने की उम्मीद है, जिससे ‘आत्मनिर्भर भारत’ और ‘वोकल फॉर लोकल’ के दृष्टिकोण को और मजबूती मिलेगी।