धर्मशाला: रिश्तों को शर्मसार करने वाले एक मामले में धर्मशाला की फास्ट ट्रैक पोक्सो कोर्ट ने एक ऐतिहासिक फैसला सुनाया है। अदालत ने अपनी ही नाबालिग चचेरी बहन के साथ अश्लील हरकत करने के दोषी ताया के लड़के को पांच साल के कठोर कारावास और 20,000 रुपये जुर्माने की सजा सुनाई है। यह फैसला समाज में भरोसे के रिश्तों में हो रहे अपराधों पर एक कड़ा प्रहार है।
क्या था पूरा मामला?
मामले के अनुसार, यह घटना 18 जून, 2023 की सुबह 6 बजे की है। पीड़िता जब घर पर अपनी दादी के लिए दूध गर्म करने जा रही थी, तभी उसके ताया के लड़के (दोषी) ने पीछे से आकर उसके साथ अश्लील हरकतें कीं। घटना के समय पीड़िता के माता-पिता अपने छोटे भाई के इलाज के लिए टांडा अस्पताल गए हुए थे, जिससे पीड़िता घर पर अकेली और असुरक्षित थी। इस घिनौनी करतूत के बाद पीड़िता ने 24 जून, 2023 को अपने पिता के साथ नगरोटा बगवां पुलिस थाने में लिखित शिकायत दर्ज कराई।
अदालत का कठोर फैसला
पुलिस ने शिकायत के आधार पर मामला दर्ज कर जांच पूरी की और चार्जशीट न्यायालय में पेश की। अभियोजन पक्ष की ओर से सहायक जिला न्यायवादी नवीना राही ने जोरदार पैरवी की और मामले से जुड़े सभी साक्ष्यों और गवाहों को अदालत के समक्ष प्रस्तुत किया, जिससे अपराध पूरी तरह से प्रमाणित हो सका।
साक्ष्यों के आधार पर, पोक्सो विशेष न्यायालय के न्यायाधीश नितिन मित्तल की अदालत ने आरोपी को दोषी करार देते हुए सजा सुनाई। अदालत ने दोषी को दो अलग-अलग धाराओं के तहत कठोर सजा दी:
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भारतीय दंड संहिता की धारा 452 (हमले के इरादे से घर में जबरन घुसना) के तहत 3 साल का कठोर कारावास।
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पोक्सो एक्ट की धारा 8 (यौन उत्पीड़न) के तहत 5 साल का कठोर कारावास और 20,000 रुपये का जुर्माना।
अदालत ने यह भी स्पष्ट किया कि यदि दोषी जुर्माना अदा नहीं करता है, तो उसे छह महीने की अतिरिक्त कैद भुगतनी होगी। यह फैसला इस बात का संदेश देता है कि नाबालिगों के खिलाफ होने वाले अपराधों में कानून पूरी सख्ती से काम करेगा, चाहे अपराधी कोई रिश्तेदार ही क्यों न हो।
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