Himachal: कैबिनेट के फैसले- शहरी निकायों में OBC आरक्षण को मंजूरी, आपदा प्रभावितों को मिलेगा किराया

शिमला: मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू की अध्यक्षता में हुई प्रदेश मंत्रिमंडल की बैठक में कई ऐतिहासिक और जनहितैषी निर्णय लिए गए। कैबिनेट ने आगामी शहरी स्थानीय निकाय (ULB) चुनावों में अन्य पिछड़ा वर्ग (OBC) को आरक्षण देने का बड़ा फैसला किया है। इसके साथ ही, आपदा प्रभावितों को बड़ी राहत देते हुए किराया सहायता और युवाओं के लिए सरकारी नौकरियों में आयु सीमा में छूट जैसे अहम निर्णय भी लिए गए हैं।

OBC आरक्षण और विधानसभा सत्र

मंत्रिमंडल ने शहरी निकाय चुनावों में ओबीसी आरक्षण को लागू करने के लिए एक पिछड़ा वर्ग आयोग के गठन को भी मंजूरी दी। यह आयोग आरक्षण रोस्टर को अंतिम रूप देने से पहले पिछड़े वर्गों की जनसंख्या के सटीक आंकड़े संकलित करेगा। इसके अलावा, कैबिनेट ने राज्यपाल से 18 अगस्त से 2 सितंबर, 2025 तक विधानसभा का मानसून सत्र बुलाने की सिफारिश की है।

आम जनता और युवाओं के लिए राहत

  • आपदा प्रभावितों को किराया: मानसून में हुई भारी तबाही को देखते हुए, राहत शिविरों में रह रहे आपदा प्रभावित परिवारों को किराए के रूप में आर्थिक सहायता दी जाएगी। ग्रामीण क्षेत्रों में 5,000 रुपये प्रति माह और शहरी क्षेत्रों में 10,000 रुपये प्रति माह की दर से 6 महीने तक यह राशि सीधे उनके खातों में (DBT) भेजी जाएगी।

  • नौकरियों में आयु सीमा में छूट: सरकारी नौकरी का इंतजार कर रहे युवाओं को बड़ी राहत देते हुए TGT और JBT पदों की भर्ती परीक्षा के लिए ऊपरी आयु सीमा में दो साल की एकमुश्त छूट दी गई है।

  • अनाथों के लिए आरक्षण: अनाथ बच्चों के भविष्य को सुरक्षित करने के लिए आईटीआई, पॉलिटेक्निक, इंजीनियरिंग और फार्मेसी कॉलेजों सहित सभी सरकारी, सहायता प्राप्त और निजी तकनीकी संस्थानों में प्रत्येक कोर्स में एक सीट आरक्षित करने का निर्णय लिया गया है।

  • स्वास्थ्य सेवाएं होंगी मजबूत: दूरदराज और जनजातीय क्षेत्रों में स्वास्थ्य सेवाओं को मजबूत करने के लिए 290 अतिरिक्त आशा कार्यकर्ताओं की नियुक्ति को मंजूरी दी गई है।

प्रशासनिक और राजस्व संबंधी निर्णय

कैबिनेट ने राजस्व बढ़ाने और अवैध गतिविधियों पर अंकुश लगाने के लिए कई महत्वपूर्ण फैसले लिए। कांगड़ा में 10 और बिलासपुर में 11 खनिजों की नीलामी को मंजूरी दी गई, जिससे सरकारी खजाने को 18.82 करोड़ रुपये का राजस्व मिलने की उम्मीद है। अवैध गतिविधियों को रोकने के लिए डिस्टिलरी और बॉटलिंग संयंत्रों में होमगार्ड जवानों और आबकारी अधिकारियों की तैनाती अनिवार्य की गई है। एक अन्य महत्वपूर्ण फैसले में, कैबिनेट ने राज्य में लॉटरी शुरू करने के संचालन को भी अपनी मंजूरी दे दी है।

इसके अलावा, 50 करोड़ से अधिक के निवेश वाली परियोजनाओं के लिए मुख्यमंत्री की अध्यक्षता में ‘पर्यटन निवेश प्रोत्साहन परिषद’ का गठन, लंबित मामलों के समाधान के लिए ‘सद्भावना योजना’ का दूसरा चरण, अपंजीकृत निर्माण उपकरण वाहनों के लिए एकमुश्त नीति और सोलन में एक समान जल शुल्क लागू करने जैसे कई अन्य निर्णय भी लिए गए।

 

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