उप-हेडिंग: 700 करोड़ से ज्यादा का नुकसान, 19 की मौत; केंद्रीय टीम की रिपोर्ट के बाद जारी होगी राहत राशि
नई दिल्ली/मंडी।
हिमाचल प्रदेश के मंडी संसदीय क्षेत्र में आई विनाशकारी प्राकृतिक आपदा के बाद राहत एवं पुनर्वास कार्यों में तेजी लाने के लिए सांसद कंगना रनौत ने गुरुवार को केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से मुलाकात की। संसद के मानसून सत्र के दौरान हुई इस महत्वपूर्ण बैठक में कंगना ने अपने संसदीय क्षेत्र में आपदा की गंभीर स्थिति और उससे हुए भारी नुकसान की विस्तृत जानकारी गृह मंत्री को दी।
आपदा की भयावहता से कराया अवगत
सांसद कंगना ने गृह मंत्री को बताया कि 30 जून की रात को मंडी जिले में बादल फटने और बाढ़ के कारण भीषण तबाही हुई है। जिले के सराज, करसोग और धर्मपुर विधानसभा क्षेत्रों में सबसे ज्यादा नुकसान हुआ है। उन्होंने आंकड़ों का हवाला देते हुए कहा कि इस आपदा में अब तक 19 लोगों की जान जा चुकी है, जबकि 23 लोग अभी भी लापता हैं, जिनकी तलाश जारी है।
कंगना ने बताया कि सैकड़ों परिवार बेघर हो गए हैं और बुनियादी ढांचे को भारी क्षति पहुंची है। जान-माल का सबसे अधिक नुकसान सराज क्षेत्र के थुनाग, पांडवशिला, पखरैर, जरोल, कुथाह, बाड़ा और परवाड़ा जैसे इलाकों में हुआ है। प्रारंभिक तौर पर प्रशासन द्वारा आपदा प्रभावित क्षेत्रों में 700 करोड़ रुपये से अधिक का नुकसान आंका गया है। उन्होंने गृह मंत्री से आग्रह किया कि प्रभावित परिवारों के लिए त्वरित राहत और स्थायी पुनर्वास के प्रयासों को और तेज किया जाए।
केंद्र ने दिया हर संभव मदद का आश्वासन
गृह मंत्री अमित शाह ने आपदा से प्रभावित लोगों के प्रति गहरी संवेदना व्यक्त की। उन्होंने सांसद कंगना रनौत को आश्वस्त किया कि केंद्र सरकार इस संकट की घड़ी में हिमाचल प्रदेश सरकार के साथ पूरी मजबूती से खड़ी है। उन्होंने कहा कि राहत कार्यों में किसी भी तरह की कोई कमी नहीं आने दी जाएगी और हर जरूरतमंद तक मदद पहुंचाई जाएगी।
गृह मंत्री ने बताया कि एक सात सदस्यीय केंद्रीय टीम पहले ही प्रभावित क्षेत्रों का दौरा करके लौट चुकी है। जैसे ही टीम अपनी रिपोर्ट सौंपेगी, राहत राशि तत्काल जारी कर दी जाएगी। इसके अलावा, बादल फटने के सटीक कारणों का पता लगाने के लिए एक पांच सदस्यीय बहु-क्षेत्रीय केंद्रीय टीम भी मंडी जिले के दौरे पर है।
केंद्र तक पहुंचाई लोगों की पीड़ा: कंगना
इस मुलाकात को आपदाग्रस्त क्षेत्रों के पुनर्निर्माण और पीड़ित परिवारों को शीघ्र सहायता दिलाने की दिशा में एक अहम पहल माना जा रहा है। बैठक के बाद कंगना ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ‘एक्स’ पर पोस्ट कर जानकारी दी और कहा कि वह अपने क्षेत्र के लोगों की पीड़ा को केंद्र सरकार तक पहुंचाने के लिए प्रतिबद्ध हैं और हरसंभव मदद दिलवाने के प्रयास जारी रखेंगी।
अभी भी राहत शिविरों में लोग
उधर, मंडी में आई प्राकृतिक आपदा के बाद बेघर हुए लोग अभी भी राहत शिविरों में रहने को मजबूर हैं। आपदा ने कई लोगों के घरों का नामोनिशान मिटा दिया है। बाढ़ के तेज बहाव में लोगों के घरों के साथ-साथ उनकी जमीनें भी बह गई हैं, जिससे उनके सामने भविष्य में मकान बनाने के लिए जमीन का संकट भी खड़ा हो गया है। ऐसे में पीड़ित परिवार केंद्र और राज्य सरकार से स्थायी पुनर्वास की उम्मीद लगाए बैठे हैं।
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