Uttarakhand: जागेश्वर श्रावणी मेले का शुभारंभ, CM धामी बोले- मानसखंड मिशन के तहत होगा मंदिरों का विकास

देहरादून। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने बुधवार को प्रसिद्ध जागेश्वर धाम में श्रावणी मेले 2025 का वर्चुअल माध्यम से शुभारंभ किया। जागेश्वर मंदिर समिति द्वारा आयोजित इस कार्यक्रम में ऑनलाइन जुड़ते हुए मुख्यमंत्री ने सभी श्रद्धालुओं और आयोजकों को मेले के सफल आयोजन के लिए शुभकामनाएं दीं। उन्होंने जागेश्वर धाम को देवभूमि उत्तराखंड की पौराणिक और सांस्कृतिक विरासत का एक अनमोल प्रतीक बताया।

अपने संबोधन में मुख्यमंत्री ने कहा कि श्रावणी मेला केवल एक धार्मिक आयोजन तक ही सीमित नहीं है, बल्कि यह हमारी गहरी लोक आस्था, समृद्ध परंपराओं और सदियों पुराने सांस्कृतिक मूल्यों का एक जीवंत उत्सव भी है। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि इस तरह के मेले हमारी पहचान को संरक्षित करने और अगली पीढ़ी तक पहुंचाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।

मुख्यमंत्री धामी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व की सराहना करते हुए कहा कि वर्तमान समय हमारी महान सांस्कृतिक और आध्यात्मिक विरासत के पुनरुत्थान का ‘अमृतकाल’ है। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री के मार्गदर्शन में देश भर में आस्था के केंद्रों को भव्य स्वरूप दिया जा रहा है। इसका उदाहरण देते हुए उन्होंने अयोध्या में भव्य श्रीराम मंदिर के निर्माण, काशी विश्वनाथ कॉरिडोर, उज्जैन में महाकाल लोक के विकास और केदारनाथ-बद्रीनाथ धाम में चल रहे पुनर्निर्माण कार्यों का उल्लेख किया। उन्होंने कहा कि ये सभी परियोजनाएं भारत की सांस्कृतिक चेतना को फिर से जागृत कर रही हैं।

राज्य सरकार की योजनाओं पर प्रकाश डालते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि ‘मानसखंड मंदिर माला मिशन’ के अंतर्गत कुमाऊं क्षेत्र के सभी प्रमुख धार्मिक स्थलों के संरक्षण और समग्र विकास के लिए सरकार पूरी तरह प्रतिबद्ध है। उन्होंने विशेष रूप से जागेश्वर धाम के लिए बनाए गए मास्टर प्लान का जिक्र किया और बताया कि इसके प्रथम चरण के विकास कार्यों के लिए 146 करोड़ रुपये की वित्तीय स्वीकृति दी जा चुकी है। इसके अलावा, दूसरे चरण की विकास परियोजनाओं को भी मंजूरी मिल गई है, जिन पर जल्द ही काम शुरू किया जाएगा।

मुख्यमंत्री ने विश्वास दिलाया कि इन विकास योजनाओं के पूरा होने के बाद जागेश्वर धाम में श्रद्धालुओं के लिए सुविधाएं और भी बेहतर हो जाएंगी, जिससे यहां आने वाले तीर्थयात्रियों का अनुभव और भी दिव्य होगा। उन्होंने आयोजकों और स्थानीय प्रशासन को मेले के दौरान स्वच्छता और सुचारू व्यवस्था बनाए रखने के निर्देश दिए।

 

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