बीजिंग: तिब्बत में मंगलवार को आए शक्तिशाली भूकंप ने तबाही मचा दी है। रिक्टर स्केल पर 6.8 तीव्रता वाले इस भूकंप में अब तक 53 लोगों की जान जा चुकी है और 62 से अधिक घायल हैं। चीन की सरकारी मीडिया के अनुसार, मृतकों की संख्या बढ़ने की आशंका है।
सुबह करीब 9:05 बजे तिब्बत के डिंगरी काउंटी में धरती काँप उठी। भूकंप का केंद्र 28.5 डिग्री उत्तरी अक्षांश और 87.45 डिग्री पूर्वी देशांतर पर जमीन से 10 किलोमीटर की गहराई में स्थित था। भूकंप के तेज झटकों से इमारतें ढह गईं और कई लोग मलबे में दब गए। राहत और बचाव कार्य जारी है, लेकिन दुर्गम इलाका होने के कारण बचाव दल को कठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा है।
नेपाल में दहशत:
भूकंप के झटके नेपाल में भी महसूस किए गए। राजधानी काठमांडू समेत कई जिलों में लोग दहशत में अपने घरों से बाहर निकल आए। सड़कों पर बिजली के खंभे और पेड़ हिलते देखे गए। 2015 में आए विनाशकारी भूकंप की याद ताज़ा हो गई, जिसमें लगभग 9000 लोग मारे गए थे।
भारत में भी कंपन:
भूकंप का असर भारत में भी दिखाई दिया। बिहार, असम, बंगाल और सिक्किम में भूकंप के झटके महसूस किए गए। बिहार के पटना, मुजफ्फरपुर, समस्तीपुर, मोतिहारी, बेगूसराय, मुंगेर, शिवहर और सारण जैसे जिलों में लोग सहमे हुए थे। बंगाल के मालदा और कुछ अन्य इलाकों में भी कंपन महसूस किया गया।
एक प्रत्यक्षदर्शी ने बताया, “मैं शौचालय में था, तभी मैंने दरवाजा हिलता हुआ देखा। भूकंप महसूस होते ही मैं तुरंत नीचे खुली जगह पर आ गया। मेरी माँ भी बहुत डर गई थीं।”
यूएस जियोलॉजिकल सर्वे के मुताबिक, सुबह 7 बजे के आसपास 4 से 5 तीव्रता के 6 से अधिक झटके दर्ज किए गए। तिब्बत में रुक-रुक कर आ रहे झटकों से लोगों में दहशत का माहौल है। प्रशासन राहत और बचाव कार्य में जुटा हुआ है और प्रभावित लोगों को हर संभव मदद पहुंचाने की कोशिश की जा रही है।
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