नई दिल्ली: ट्रंप टैरिफ वॉर के बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने टोक्यो में अपने जापानी समकक्ष शिगेरु इशिबा के साथ शिखर वार्ता की। इस दौरान उन्होंने कई मुद्दों पर बातचीत की।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा, “आज हमने भारत-जापान विशेष रणनीतिक और वैश्विक साझेदारी में एक नए और सुनहरे अध्याय की मजबूत नींव रखी है और अगले दशक के लिए सहयोग का रोडमैप तैयार कर लिया है।”
दोनों देशों ने रखा इतना निवेश करने का लक्ष्य:
जापान के प्रधानमंत्री शिगेरु इशिबा के साथ बातचीत के बाद प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, “आज की चर्चाएं उत्पादक और उद्देश्यपूर्ण रहीं। मजबूत लोकतंत्र बेहतर दुनिया बनाने में स्वाभाविक साझेदार होते हैं। हमने अगले 10 वर्षों में जापान से भारत में 10 ट्रिलियन येन के निवेश का लक्ष्य रखा है।”
इन चीजों पर होगा फोकस:
पीएम मोदी ने कहा, “10 वर्षीय भारत-जापान रोडमैप का फोकस निवेश, नवाचार, आर्थिक सुरक्षा, पर्यावरण, प्रौद्योगिकी और स्वास्थ्य पर होगा। भारत और जापान की साझेदारी आपसी विश्वास पर आधारित है, हमारी राष्ट्रीय प्राथमिकताओं को दर्शाती है और हमारे साझा मूल्यों और विश्वासों से आकार लेती है। भारत और जापान एक स्वतंत्र, खुले, शांतिपूर्ण, समृद्ध और नियम-आधारित हिंद-प्रशांत क्षेत्र के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध हैं।”
‘भारत और जापान की चिंताएं एक जैसी’:
प्रधानमंत्री ने कहा, “आतंकवाद, साइबर सुरक्षा को लेकर भारत और जापान की चिंताएं एक जैसी हैं। हमारे साझा हित रक्षा और समुद्री सुरक्षा से जुड़े हैं। हमने तय किया है कि रक्षा उद्योग और नवाचार के क्षेत्र में आपसी सहयोग को और मजबूत किया जाएगा।”
पीएम इशिबा ने क्या कहा?
प्रधानमंत्री मोदी से बातचीत के बाद पीएम इशिबा ने कहा कि अगली पीढ़ी की चुनौतियों से निपटने के लिए हमें एक-दूसरे की ताकत का लाभ उठाने की जरूरत है। इसके साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि वैश्विक शांति और स्थिरता के लिए भारत और जापान का सहयोग महत्वपूर्ण है। यह शिखर वार्ता दोनों देशों के बीच संबंधों को मजबूत करने और विभिन्न क्षेत्रों में सहयोग को बढ़ावा देने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।