शिमला। हिमाचल प्रदेश विधानसभा ने वित्त वर्ष 2025-26 के लिए 62,387.61 करोड़ रुपये का बजट ध्वनिमत से पारित कर दिया. मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने 17 मार्च को 58,514 करोड़ रुपये का बजट पेश किया था, जिसमें बाद में 3,873.61 करोड़ रुपये की वृद्धि की गई, जिसमें रिकवरी शामिल है.
बजट की मुख्य विशेषताएं:
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11 नई योजनाएं
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25,000 नई नौकरियां
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आउटसोर्स कर्मचारियों के लिए न्यूनतम वेतन 12,750 रुपये
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70-75 वर्षीय पेंशनरों के लिए बकाया एरियर
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न्यूनतम दिहाड़ी 425 रुपये
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मनरेगा मज़दूरी में 20 रुपये की वृद्धि
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विकास कार्यों के लिए 24% बजट आवंटन
आय-व्यय का बंटवारा (प्रति 100 रुपये पर):
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विकास: 24 रुपये
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वेतन: 25 रुपये
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पेंशन: 20 रुपये
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ब्याज भुगतान: 12 रुपये
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ऋण भुगतान: 10 रुपये
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स्वायत्त संस्थानों को अनुदान: 9 रुपये
घाटे का अनुमान:
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राजस्व घाटा: 6,390 करोड़ रुपये
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पूंजीगत घाटा: 10,338 करोड़ रुपये
समर्थन मूल्य में वृद्धि:
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गाय का दूध: 45 रुपये से 51 रुपये प्रति लीटर
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भैंस का दूध: 55 रुपये से 61 रुपये प्रति लीटर
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प्राकृतिक मक्का: 30 रुपये से 40 रुपये प्रति किलो
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प्राकृतिक गेहूं: 40 रुपये से 60 रुपये प्रति किलो
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प्राकृतिक हल्दी: 90 रुपये प्रति किलो
मुख्यमंत्री के बयान:
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बजट में ग्रामीण अर्थव्यवस्था, कृषि और सामाजिक सुरक्षा पर ध्यान केंद्रित किया गया है.
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किसानों और बागवानों की आय बढ़ाने के लिए कई योजनाएं शामिल की गई हैं.
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कर्मचारियों को जून के वेतन में 3% महंगाई भत्ता (DA) मिलेगा और एरियर का भुगतान भी किया जाएगा.
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केंद्र से पनबिजली परियोजनाओं पर रॉयल्टी बढ़ाने और पुरानी परियोजनाएं वापस लेने के लिए बातचीत की जाएगी.
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राज्य के लिए आर्थिक मदद के लिए केंद्र सरकार से बातचीत को विपक्ष के साथ जाने को तैयार हैं.
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