
देहरादून: मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने मंगलवार को देहरादून में भारतीय मानक ब्यूरो (BIS) के मानक मेले का उद्घाटन किया। इस अवसर पर उन्होंने विभिन्न स्टॉलों का निरीक्षण किया और लोगों को ISI मार्क उत्पादों का इस्तेमाल करने की शपथ दिलाई।
मुख्यमंत्री ने कहा कि BIS का स्टैंडर्ड क्लब छात्रों को गुणवत्ता और मानकीकरण का महत्व समझाने के साथ-साथ रचनात्मकता, नवाचार और वैज्ञानिक दृष्टिकोण विकसित करने में मदद कर रहा है। किसी भी देश की आर्थिक प्रगति और वैश्विक प्रतिस्पर्धा में उसकी स्थिति उत्पादों और सेवाओं की गुणवत्ता पर निर्भर करती है। BIS पिछले 78 वर्षों से भारतीय उत्पादों की गुणवत्ता सुनिश्चित करके और उपभोक्ताओं के हितों की रक्षा करके राष्ट्र निर्माण में योगदान दे रहा है।
ISI मार्क गुणवत्ता की गारंटी
मुख्यमंत्री ने कहा कि उत्पाद खरीदते समय सबसे पहले लोग ISI मार्क देखते हैं, जो गुणवत्ता और सुरक्षा की गारंटी है। यह BIS की विश्वसनीयता और उपभोक्ताओं के प्रति उसकी प्रतिबद्धता को दर्शाता है। मानक केवल तकनीकी दिशानिर्देश नहीं हैं, बल्कि देश के विकास और आत्मनिर्भरता की नींव हैं।

मानकों के दायरे का विस्तार
हाल के वर्षों में मानकों का दायरा बढ़ा है और अब यह कृषि, परिवहन, स्वास्थ्य समेत कई क्षेत्रों को शामिल करता है। उत्तराखंड में भी BIS विभिन्न विभागों के साथ मिलकर मानकीकरण को बढ़ावा दे रहा है।
आत्मनिर्भर भारत में BIS की भूमिका
मुख्यमंत्री ने कहा कि आत्मनिर्भर भारत के निर्माण में BIS की महत्वपूर्ण भूमिका है। प्रधानमंत्री मोदी का लक्ष्य है कि भारतीय उत्पाद विश्व स्तर पर अपनी गुणवत्ता के लिए जाने जाएँ। उत्तराखंड सरकार भी स्थानीय उत्पादों, जैसे हस्तशिल्प और जैविक उत्पादों के लिए “हाउस ऑफ हिमालयाज़” ब्रांड के ज़रिए उच्च मानक स्थापित करने पर काम कर रही है।
वन नेशन, वन स्टैंडर्ड
BIS ने देशभर के 10,000 से ज़्यादा स्कूलों में स्टैंडर्ड क्लब स्थापित किए हैं और कई शिक्षण संस्थानों के साथ समझौते किए हैं। मुख्यमंत्री ने “वन नेशन, वन स्टैंडर्ड” के सिद्धांत को अपनाकर गुणवत्तापूर्ण भारत के निर्माण का आह्वान किया।