
नई दिल्ली: संसद के बजट सत्र 2025 का शुभारंभ राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु के अभिभाषण से हुआ। उन्होंने मोदी सरकार की उपलब्धियों और ‘राष्ट्र प्रथम’ की भावना पर प्रकाश डाला। विकास योजनाओं, आर्थिक स्थिरता, महिला सशक्तिकरण, और तकनीकी प्रगति जैसे विषयों पर उन्होंने विस्तार से चर्चा की।
मुख्य बिंदु:
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वैश्विक मंच पर भारत: वैश्विक अस्थिरता के बीच भारत आर्थिक, सामाजिक और राजनैतिक स्थिरता का प्रतीक बना हुआ है। सीमा सुरक्षा और आंतरिक सुरक्षा को मज़बूत बनाने के लिए सरकार के प्रयासों की सराहना की गई।
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आर्थिक प्रगति: ‘वन नेशन वन टैक्स’, सरलीकृत कर व्यवस्था, और ऑनलाइन लेनदेन को मजबूत बनाने के कदमों को रेखांकित किया गया। भारत को ‘ग्लोबल इनोवेशन पावर’ बनाने के लक्ष्य पर ज़ोर दिया गया।
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महिला सशक्तिकरण: ‘ड्रोन दीदी योजना’ सहित महिलाओं के सशक्तिकरण के लिए सरकार की प्रतिबद्धता दोहराई गई। 3 करोड़ ‘लखपति दीदी’ बनाने का लक्ष्य रखा गया है।
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विकसित भारत का लक्ष्य: 25 करोड़ लोगों को गरीबी से बाहर निकालने, आठवें वेतन आयोग को लागू करने, और भारत को तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनाने के प्रयासों की चर्चा की गई।
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महत्वपूर्ण फैसले: वक्फ बोर्ड और ‘वन नेशन, वन इलेक्शन’ जैसे मुद्दों पर सरकार के फैसलों का उल्लेख किया गया। राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन के तहत स्वयं सहायता समूहों को सशक्त बनाने पर ज़ोर दिया गया।
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तकनीकी प्रगति: ‘गगनयान’ मिशन और ‘भारत AI मिशन’ के माध्यम से अंतरिक्ष और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस के क्षेत्र में भारत की प्रगति पर प्रकाश डाला गया।
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महाकुंभ हादसे पर संवेदना: महाकुंभ में हुए दुखद हादसे पर संवेदना व्यक्त की गई और घायलों के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना की गई।
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अन्य महत्वपूर्ण योजनाएँ: पीएम सूरज योजना, अष्टलक्ष्मी महोत्सव, कैंसर की दवाओं से कस्टम ड्यूटी हटाना, पीएम स्वनिधि योजना, और कश्मीर में दुनिया के सबसे ऊँचे रेलवे पुल के निर्माण का उल्लेख किया गया।
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