देहरादून। युवा आपदा मित्र योजना के तहत सोमवार को एसडीआरएफ जौलीग्रांट में एनएसएस के स्वयंसेवकों का प्रशिक्षण प्रारंभ हुआ. वाहिनी मुख्यालय, जौलीग्रांट (देहरादून) में सेनानायक श्री अर्पण यदुवंशी ने युवा आपदा मित्र प्रशिक्षण कार्यक्रम के तहत एनएसएस के स्वयंसेवकों के प्रथम बैच का उद्घाटन किया. यह प्रशिक्षण कार्यक्रम राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण और राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के संयुक्त तत्वावधान में आयोजित किया जा रहा है.
प्रशिक्षण का उद्देश्य और लक्ष्य
सेनानायक अर्पण यदुवंशी ने इस अवसर पर कहा कि यह प्रशिक्षण न केवल युवाओं में आपदा प्रबंधन के प्रति जागरूकता बढ़ाएगा, बल्कि उनमें सेवा भावना, उत्तरदायित्व और नेतृत्व के गुणों को भी सुदृढ़ करेगा. उन्होंने बताया कि युवा आपदा मित्र राज्य की आपदा तैयारियों को नई दिशा देंगे और स्थानीय स्तर पर त्वरित राहत एवं सहायता कार्यों में अहम भूमिका निभाएंगे. उन्होंने यह भी कहा कि उत्तराखण्ड का भौगोलिक स्वरूप इसे आपदा की दृष्टि से संवेदनशील बनाता है, और ऐसे में हर गांव और मोहल्ले में प्रशिक्षित युवा आपदा मित्र मौजूद होने से आपदाओं के प्रभाव को काफी हद तक कम किया जा सकता है.
उत्तराखण्ड के 11 जनपदों से कुल 4,310 स्वयंसेवकों को आपदा प्रबंधन का प्रशिक्षण दिया जाएगा. इसमें एनएसएस के 850, एनसीसी के 1,700, नेहरू युवा केंद्र के 850 तथा भारत स्काउट्स एंड गाइड्स के 910 स्वयंसेवक शामिल हैं. एसडीआरएफ जौलीग्रांट में नेहरू युवा केंद्र के 576 एवं एनएसएस के 644, कुल 1,220 स्वयंसेवकों को 17 बैचों में प्रशिक्षित किया जाएगा. यह प्रशिक्षण 13 अक्टूबर 2025 से मार्च 2026 तक चरणबद्ध रूप में आयोजित किया जाएगा.
प्रशिक्षण कार्यक्रम का विवरण
प्रथम बैच में 35 स्वयंसेवक प्रशिक्षण प्राप्त कर रहे हैं. यह 7 दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम 13 से 19 अक्टूबर तक चलेगा. प्रशिक्षण के दौरान प्रतिभागियों को फर्स्ट एड, जनरल डिजास्टर मैनेजमेंट, सर्च तकनीक और रोप रेस्क्यू जैसे विषयों पर सैद्धांतिक और व्यवहारिक ज्ञान प्रदान किया जाएगा.
पहले सत्र में आपदा प्रबंधन अधिनियम, आपदा मित्रों की भूमिका और स्थानीय स्तर पर आपदा पूर्व तैयारियों के महत्व पर चर्चा की गई. दूसरे सत्र में आपदा से पहले और दौरान की जाने वाली सावधानियों के बारे में जानकारी दी गई. इस अवसर पर उप सेनानायक श्री शुभांक रतूड़ी, इंस्पेक्टर श्री प्रमोद रावत, सब-इंस्पेक्टर श्री अनूप रमोला सहित वाहिनी मुख्यालय के अधिकारी और प्रशिक्षक टीम उपस्थित रहे.
रेंजर व रोवर और एनसीसी कैडेट्स को विशेष प्रशिक्षण
राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण द्वारा प्रायोजित युवा आपदा मित्र योजना के तहत दूसरे दिन भारत स्काउट्स एंड गाइड्स को आपदा के समय भारी वस्तुओं को सुरक्षित ढंग से उठाने, बाढ़ की स्थिति में नदी व नालों को पार करने तथा बाढ़ में फंसे हुए पीड़ितों की खोज एवं बचाव कार्य से संबंधित प्रशिक्षण दिया गया. प्रशिक्षकों ने आंधी-तूफ़ान, बादल फटने और बाढ़ जैसी प्राकृतिक आपदाओं की स्थिति में सुरक्षित स्थान पर पहुंचने, प्राथमिक उपचार प्रदान करने, तथा टीम के साथ समन्वय बनाकर कार्य करने की विधियां भी समझाईं.
इसी प्रकार, “युवा आपदा मित्र परियोजना” के अंतर्गत एनसीसी कैडेट्स हेतु आयोजित प्रशिक्षण कार्यक्रम में प्रशिक्षणार्थियों को भूकंप तथा उससे बचाव के उपायों के संबंध में विस्तृत जानकारी प्रदान की गई. एनडीआरएफ टीम द्वारा मौके पर मॉक ड्रिल (भूकंप अभ्यास) का आयोजन किया गया, जिसमें प्रतिभागियों ने भवनों के अंदर फँसे व्यक्तियों को सुरक्षित निकालने के व्यावहारिक तरीकों का अभ्यास किया. इसके पश्चात् प्रशिक्षणार्थियों को सर्पदंश, डॉग बाइट तथा अन्य पशु-दंश की स्थिति में किए जाने वाले प्राथमिक उपचारों के बारे में विस्तार से जानकारी दी गई.