कवि और गीतकार मनोज मुंतशिर कविता चोरी के आरोप में घिरते ही जा रहे हैं। बता दें, 2019 में आई उनकी एक किताब ‘मेरी फितरत है मस्ताना’ की एक कविता ‘मुझे कॉल करना’ को लोग चुराया हुआ बता रहे हैं। इन आरोपों को लेकर अब मनोज ने चुपी तोड़ी है। एक ओर उन्होने ट्वीट करते हुए कहा – ‘200 पन्नों की किताब और 400 फिल्मी और गैर फिल्मी गाने मिलाकर सिर्फ 4 लाइनें ढूंढ पाए? इतना आलस? और लाइनें ढूंढो, मेरी भी और बाकी राइटर्स की भी. फिर एक साथ फ़ुरसत से जवाब दूंगा. शुभ रात्रि!’ तो दूसरी ओर एक जाने-माने मीडिया संस्थान को दिए अपने इंटरव्यू के दौरान उन्होंने कहा – ‘अगर मैंने कुछ ग़लत किया है तो मेरे ख़िलाफ़ याचिका दायर करें, मुझे आदरणीय न्यायालय का हर फ़ैसला मंज़ूर है लेकिन सोशल मीडिया ट्रायल मंज़ूर नहीं है. मुझे कलंकित करने वाले एक बार ये तय कर लें कि उनको परेशानी मेरी कविता से है, या मेरे राष्ट्रवादी वीडियोज से, क्योंकि मैं वीडियोज़ बनाता रहूंगा, मुझे रोकना असंभव है’